Kapoor एक वनस्पति से मिलने वाला सफेद रंग का मोम जैसा ज्वलनशील और उड़नशील द्रव्य होता है। इसमें एक तीखी गंध होती हैं। इसका इस्तेमाल कई प्रकार की आयुर्वेदिक एवं एलोपैथिक दवाएं बनाने के लिए भी किया जाता हैं। इसे कर्पूर, कपूर और अंग्रेजी मे कैम्पर कहते है। कपूर का ज्यादातर उपयोग सर दर्द मे किए जाने वाले बाम मे किया जाता है.
कपूर कहां पाया जाता हैं
अधिकांश लोगों को नहीं पता कि कपूर कैसे बनता है। कपूर यह एक वनस्पति से मिलने वाला प्राकृतिक पदार्थ होता हैं जिसपर प्रक्रिया करके उसे टिकियां के रूप मे बनाया जाता है। प्राकृतिक कपूर पश्चिम बंगाल, उत्तराखंड, कर्नाटक, तमिलनाडु, केरल में पाया जाता है। कपूर मे भीमसेनी कपूर को शुद्ध माना जाता है.
कपूर के फायदे – camphor Health Benefits
मच्छर दूर भगाता है कपूर ( mosquito repellent camphor)
एक अध्ययन मे यह पाया गया कि kapoor जलाने से इसके तेज सुगंध से मच्छर के सेंसरी रिसेप्टर्स उलझन में पड़ जाते है जिससे कि मच्छर इंसान की गंध को पता नहीं लगा पाते और वह इंसानों से दूर ही रहते हैं। Kapoor का इस्तेमाल करने के लिए इसे किसी दिए में या डिफ्यूजर मे किया जाता है। मच्छर को दूर भगाने के लिए कपूर को डिफ्यूजर मे डालकर उसमें दो – तीन बूंदे नीम ऑयल की डालकर ये नैचुरली मच्छरों को दूर भगाता है। यह प्रकृति के लिए बिलकुल सुरक्षित है और बच्चों के लिए भी पूरी तरह से सुरक्षित हैं। Kapoor मच्छरो के लिए एक बेहतरीन सुरक्षित पर्याय हैं.
सांस की तकलीफ मे फायदेमंद
Kapoor में सर्दी खाँसी की दवा(Decongestant) के गुण भी मौजूद होते है। जिससे यह श्वसन मार्ग को खोलने का भी काम करता है। कपूर साइनस में एयर फ्लो को बढ़ाता हैं, नाक की सूजन को कम करता है। कपूर की तेज गंध श्वसन मार्ग को खोलता हैं और उसे क्लियर करता हैं। Kapoor ब्रोंकाइल की समस्या और फेफड़े के सूजन को कम करने मे भी काफी मददगार होता है। ऊंचे पहाड़ों पर या जहां पर ऑक्सीजन का स्तर कम होता है वहां पर कपूर की गंध को लेने से यह ऑक्सीजन के अब्जॉर्पशन को बढ़ा देता हैं, जिससे के पहले के मुकाबले में ऑक्सीजन की कमी को दूर करता हैं.
दर्द को कम करता है कपूर
Kapoor एक दर्द नाशक पदार्थ है, इसमें ऐसे कई प्रकार की प्रॉपर्टीज होती हैं जो दर्द को प्रभावी रूप से कम करने की क्षमता रखता है। आजकल मार्केट में मिलने वाले कई प्रकार के दर्दनाशक लोशन, क्रीम, वेपरब होते है उसका मुख्य घटक ही kapoor होता है। नीलगिरी के तेल में कपूर मिलाकर दर्द वाले जगह पर लगाने से बहुत आराम मिलता.
एयर प्यूरीफायर कपूर
Kapoor में एंटीमाइक्रोबियल प्रॉपर्टीज होती है वो बैक्टेरिया, जर्म्स सब को कम करती हैं, जिससे कि हमे इन्फेक्शन फ्री ब्रीदिंग मिलती हैं। पुराने जमाने मे पूजा करते समय हवन में Kapoor को जरूर जलाया जाता था जिससे के यह हवा में मौजूद नेगेटिव इफेक्ट्स को कम कर के हवा को शुद्ध करने का काम करता हैं, हवा के गुणवत्ता को सुधारता है। हवा में मौजूद किसी भी प्रकार वायरसेस होते है kapoor उसे प्रभावी रूप से मार देता हैं उन वायरसेस से बचाता हैं। इसके अलावा Kapoor डियोड्राइजर का भी काम करता हैं और बहुत खूबसूरत सी खुशबू दिन भर घर मे बनी हुई रहती जो माइंड को भी रिलैक्स करती हैं मूड को फ्रेश रखती है.
डैंड्रफ को कम करती है कपूर
Kapoor में एंटी फंगल गुण होते है। कपूर ऑयल के लगभग दस बूंदे नारियल के तेल मे मिलाकर सर पर लगभग एक घंटे तक लगा रहने दे फिर किसी अच्छे से आयुर्वेदिक शैम्पू से बाल को धो ले.
(घर पर बनाए आयुर्वेदिक शैम्पू)
किल मुहांसे नही होने देता
Kapoor में पावरफुल एंटी बैक्टिरियल गुन होते है जो एक्ने काउंसिंग बैक्टेरिया होता हैं उसे कम करता हैं। कपूर की एंटी बैक्टिरियल और एंटी सैप्टिक प्रॉपर्टीज एक्ने को होने से रोकती हैं उसे कंट्रोल में रखती हैं। कपूर का डायरेक्ट इस्तेमाल करने से पहले कुछ सावधानियां बरतनी जरूरी होती हैं, इससे जलन या खुजली की दिक्कत हो सकती है.
चेहरे को निखारता है कपूर
बीमारियों के कारण, सनबर्न के कारण या किसी भी कारण होने वाले चेहरे के डार्क स्पॉट को या अनिवन स्किन टोन को पूरी तरह से कम करता हैं कपूर का तेल, किसी भी अन्य तेल मे कपूर का तेल मिलाकर चेहरे पर आधा से एक घंटे तक रहने दे फिर गुनगुने पानी से चेहरा साफ कर लें.
(स्किन की सभी समस्याओं को खतम कर देगी फिटकरी)
मुंह के छालों से दिलाए राहत
कई बार पेट की गर्मी के वजह से या फिर ज्यादा चाय का सेवन करने से कई बार मुंह में छाले आने की समस्या होते रहती हैं। थोड़ीसी मात्रा मे kapoor को धागे वाली मिश्री के साथ पीसकर छालों पर लगाने से मुंह आने की समस्या से आराम मिलता है.
गठिया दर्द से आराम दिलाएं कपूर
बढ़ती उम्र के कारण अधिकांश लोगों मे घुटनों और जोड़ों में दर्द होने की समस्या होती हैं। Kapoor का प्रयोग करके आप गठिया के दर्द को कम कर सकते है। कपूर को राई के तेल मे या फिर तिल या सरसों के तेल मे मिलाकर मालिश करें इससे गठिया दर्द के दर्द मे आराम मिलता हैं.
बवासीर में राहत दिलाएं कपूर
कपूर मे एंटी इनफ्लेमेटरी प्रॉपर्टीज होती हैं। बवासीर में राहत पाने के लिए कपूर को नारियल के तेल मे मिलाकर बवासीर वाली जगह पर लगाने से वहां की सूजन मे राहत मिलती हैं. साथ ही कपूर के कूलिंग इफेक्ट के कारण जलन की तकलीफ मे भी आराम मिलता हैं.
धूप लगने से कपूर के फायदे
कपूर मे कूलिंग और सूदिंग इफेक्ट्स होते है। धूप लगने पर नारियल तेल मे कपूर मिलाकर पैर के तलवे पर, माथे पर और हाथ में लगाने से शरीर को ठंडक मिलती हैं और धूप के लक्षणों से राहत मिलती हैं.
दांत दर्द मे आराम दिलाएं कपूर
दांत से अगर परेशान हैं तो कपूर के तेल का उपयोग दांत दर्द मे जरूर करें, एक कॉटन मे कपूर तेल को लगाकर दर्द वाली जगह पर लगाकर रखने से दांत दर्द मे तुरंत आराम मिलता है.
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